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लेखनी -गीत -20-Mar-2023

माँ वीणाधारिणी को नमन
तत्पश्चात मंच को नमन
सभी श्रेष्ट सुधीजन को नमन
गीत -: अब तो 
दिनाँक-20-03-२०२३
🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹
तर्ज अब तो आजा रे बालम....

अब तो आजा रे,साँवरे अब तो आजा रे
राह निहारूं , नयन बिछाऊँअब तो दर्श दे जा रे......

1)जयकारा लगाऊँ तेरे नाम का 
     कष्टों को हर ले
     झोली बिछाऊँ,आस लगाऊँ
     सहारा बन आ जा रे....

2) लखदातार साँवरे तू मेरा
     तेरी झलक को नयना तसरे
      हृदय में मेरे भक्ति भर जा रे...
 
3)दिया साँवरे तूने मुझको
    हर खुशी और आराम
     बंशी धुन एक बार सुना जा रे
     
अब तो आजा........

स्व रचित गीत

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14 Comments

madhura

19-Aug-2023 02:54 PM

good

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sunanda

26-Mar-2023 12:00 PM

nice

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Babita patel

22-Mar-2023 06:42 PM

nice

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